क्या दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लग सकता है? ये सवाल इसलिए पूछ रहे हैं क्योंकि राष्ट्रपति ने दिल्ली सरकार को बर्खास्त करने की मांग वाली दिल्ली बीजेपी की अपील गृह मंत्रालय (MHA) को भेज दी है। दिल्ली विधानसभा में इस संबंध में विपक्ष के नेता विजेंद्र गुप्ता ने कहा है कि, भारतीय जनता पार्टी के विधायकों द्वारा राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को सौंपे गए ज्ञापन में संविधान के कथित उल्लंघन के लिए आम आदमी पार्टी (आप) सरकार को बर्खास्त करने की मांग की गई है।
राष्ट्रपति कार्यालय ने यह पत्र मंत्रालय को भेज दिया है। विजेंद्र गुप्ता ने अपने एक बयान में दावा किया कि, दिल्ली सरकार द्वारा छठे दिल्ली वित्त आयोग का गठन नहीं करना और कैग रिपोर्ट पर कोई कार्रवाई नहीं करना 'संविधान का उल्लंघन' है।
बता दें कि, भाजपा विधायकों के एक प्रतिनिधिमंडल ने 30 अगस्त को राष्ट्रपति से भेंट की थी और एक ज्ञापन सौंपा था जिसमें उन्होंने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के जेल में होने के कारण दिल्ली में उत्पन्न संवैधानिक संकट में तत्काल हस्तक्षेप का अनुरोध किया था। विजेंद्र गुप्ता ने राष्ट्रपति सचिवालय से मिले एक पत्र को साझा करते हुए कहा कि, "राष्ट्रपति ने ज्ञापन का संज्ञान लिया है और इसे गृह सचिव को भेज दिया है।" उन्होंने कहा कि, उन्होंने गृह सचिव से इस मामले पर तत्काल व उचित कार्रवाई करने का अनुरोध किया गया है।
दिल्ली विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष विजेंद्र गुप्ता के नेतृत्व में विधायकों ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को एक ज्ञापन सौंपकर अरविंद केजरीवाल सरकार की कार्यप्रणाली पर गंभीर चिंता व्यक्त करते हुए दिल्ली में चल रहे संवैधानिक संकट में तत्काल हस्तक्षेप की अपील की थी।
ज्ञापन में सबसे पहले दिल्ली की अपंग हो चुकी प्रशासनिक व्यवस्था का मुद्दा उठाते हुए कहा गया कि, मुख्यमंत्री केजरीवाल आबकारी नीति घोटाले से जुड़े गंभीर भ्रष्टाचार के आरोप में 4 महीने से अधिक समय से जेल में हैं। जेल में होने के बावजूद केजरीवाल ने इस्तीफा देने से इनकार कर दिया है, जिससे स्थिति गंभीर हो गई है।