सुदर्शन के राष्ट्रवादी पत्रकारिता को सहयोग करे

Donation

"हर हिन्दू शरणार्थियों को मिले नागरिकता", विश्व हिन्दू परिषद की बैठक में अहम मुद्दों पर हुई चर्चा

VHP Meeting: विहिप के स्थापना दिवस कार्यकर्म को लेकर हुई बैठक दो दिवसीय प्रबंध समिति बैठक।

Ravi Rohan
  • Jul 28 2024 7:54PM

विश्व हिन्दू परिषद की केन्द्रीय प्रबन्ध समिति की दो दिवसीय बैठक जोधपुर के माहेश्वरी भवन में हुई। रविवार को बैठक की सम्पूर्ण जानकारी के लिए हुई पत्रकार वार्ता को विहिप के राष्ट्रीय अध्यक्ष और वरिष्ठ अधिवक्ता आलोक कुमार ने सम्बोधित करते हुए कहा कि, बैठक में प्रत्येक विस्थापित हिन्दू को नागरिकता मिले, हिन्दू मान्यताओं व परम्पराओं की सात्विकता व पवित्रता सुनिश्चित करने के साथ, मन्दिरों को जागरण, धर्म प्रचार, सेवा व समरसता के केन्द्र बनाने का संकल्प लिया गया। इस  बैठक में  देश भर में विहिप के 47 प्रान्तों सहित विश्व भर के लगभग 300 पदाधिकारियों ने भाग लिया।

विहिप अध्यक्ष ने कहा कि, इस वर्ष श्रीकृष्ण जन्माष्टमी को विहिप के 60 वर्ष पूर्ण होंगे। बैठक में निर्णय लिया गया कि, ऐसे में देशभर में हजारों स्थानों पर व्यापक जनजागरण कार्यक्रम होंगे। 24 अगस्त से 1 सितंबर के बीच आयोजित होने वाले इन स्थापना दिवस महोत्सव कार्यक्रमों के अन्तर्गत विहिप की 60 वर्षो की उपलब्धियां, वर्तमान में राष्ट्र, धर्म व हिन्दू समाज के समक्ष चुनौतियाँ तथा उनके निराकरण के सम्बन्ध में चर्चाए, संगोष्ठियाँ व सार्वजनिक कार्यक्रम होंगे। इनके माध्यम से हम विहिप के कार्यों व हिन्दू जीवन मूल्यों को जन जन तक लेकर जाएंगे। 

नागरिकता संशोधन अधिनियम 

विहिप अध्यक्ष आलोक कुमार ने बताया कि राजस्थान, दिल्ली, महाराष्ट्र, गुजरात व उत्तर प्रदेश सहित सम्पूर्ण देश के अनेक राज्यों में विहिप और बजरंग दल कार्यकर्ता हर गाँव गली मोहल्ले में पाकिस्तान से आये पीड़ित विस्थापित हिन्दुओं को नागरिकता दिलाने में सहयोग कर रहे हैं। इसमें हजारों ऐसे हिन्दुओं की नागरिकता हेतु पंजीयन हो चुका है तथा सैकड़ों को नागरिकता मिली भी है। निर्णय हुआ कि इस प्रक्रिया में और तेजी लाई जाएगी और शेष बचे सभी पीड़ितों को भारत की नागरिकता दिलाई जाएगी

कांवड़ यात्रा

 मुसलमानों को बताया जाता है कि वह खाने के पहले देखें कि वह खाना हलाल का है या नहीं। खाने में धार्मिक भाव को देखा जा सकता है तो बेचने वाले के बारे में क्यों नहीं? इस बारे में कानून 2006 में बना था और 2011 में नियम बने थे। इन नियमों में यह निर्देश था कि खाने का सामान बेचने वालों को अपना लाइसेंस दुकान पर लगाना पड़ेगा जिसमें उनका नाम शामिल है। तब केन्द्र में प्रधानमन्त्री मनमोहन सिंह की सरकार थी। बहुत सारे ऐसे कानून है जिसमें हर दुकानदार को अपनी दुकान के सामने अपना रजिस्ट्रेशन लगाना पड़ता है। इसमें उसका नाम होता ही है एवं इसके अलावा अन्य काफी जानकारियां होती है, जैसे जीएसटी नंबर, टिन नंबर, शॉप एंड एस्टेब्लिशमेंट एक्ट आदि। फिर इस बार ही आपत्ति क्यों?

धोखा कानूनी अधिकार कैसे?

 यह सर्वविदित है कि हिन्दू धर्म स्थलों, तीर्थो तथा धर्मिक यात्राओं के मार्ग में  बहुत सारे मुसलमान दुकानदार अपने दुकान का नाम हिन्दू देवी-देवताओं के नाम पर रखते है। और कई जगह तो वे हिन्दू देवी देवताओं के चित्र भी लगाते है। यह सीधे-सीधे अपना मजहब छुपाकर धोखा देने की बात है। कोई इस प्रकार के धोखे को अपना कानूनी अधिकार कैसे बता सकता है? क्या तीर्थ यात्रियों को यात्रा में अपने धर्म के अनुसार धार्मिक सात्विक खाना खाने का अधिकार भी नहीं है?

 आलोक कुमार ने कहा कि, निश्चय ही लोकतंत्र में दो आदेश नहीं हो सकते। किसी एक धर्म के मानने वालों के लिए अलग और हिन्दू धर्म के मानने वालो के लिए अलग। हमें यह मालूम है कि सुप्रीम कोर्ट ने अभी इस आदेश पर रोक लगाई है। इस आज्ञा का सम्मान होना चाहिए। किंतु, हम यह आशा करते हैं कि गुण दोष के आधार पर पूरी सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट अपना यह आदेश वापस लेकर याचिका को शीघ्र रद्द करेगी। 

 अर्चक-पौरोहित्य प्रशिक्षण कार्यक्रम

 विभिन्न जाति मत-पंथ-सम्प्रदायों के मठ मन्दिर देश में सामाजिक जागरण, धर्मप्रचार, सेवा व समरसता के केन्द्र बनें तथा शुद्ध मंत्रोच्चार के साथ धार्मिक रीति-रिवाज से पूजा, अर्चना व पौरोहित्य के कार्य सम्पन हों,  इस हेतु विहिप ने देशभर में अर्चक पुरोहितों के प्रशिक्षण की एक व्यापक कार्य योजना बनाई है।  इससे न सिर्फ भारतीय उपमहाद्वीप अपितु,  पश्चिम के देशों में भी मन्दिरों व घरों में विधि विधान से संस्कार व धार्मिक शिक्षा का प्रसार हो सकेगा। विदेशस्थ  हिन्दू मन्दिरों में ऐसे पुजारियों की बड़ी मांग है। इस की पूर्ति हेतु इन प्रशिक्षण कार्यक्रम में अंग्रेजी व अन्य भाषाओं के साथ तकनीकी प्रशिक्षण भी दिया जाएगा। इस प्रशिक्षण कार्यक्रम में समाज के हर वर्ग के जाति-मत-पंथ-सम्प्रदाय को सहभागी बनाया जाएगा।

सहयोग करें

हम देशहित के मुद्दों को आप लोगों के सामने मजबूती से रखते हैं। जिसके कारण विरोधी और देश द्रोही ताकत हमें और हमारे संस्थान को आर्थिक हानी पहुँचाने में लगे रहते हैं। देश विरोधी ताकतों से लड़ने के लिए हमारे हाथ को मजबूत करें। ज्यादा से ज्यादा आर्थिक सहयोग करें।
Pay

ताज़ा खबरों की अपडेट अपने मोबाइल पर पाने के लिए डाउनलोड करे सुदर्शन न्यूज़ का मोबाइल एप्प

Comments

ताजा समाचार