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Bangladesh Violence: हिंदू संत चिन्मय कृष्ण दास प्रभु के वकील पर इस्लामी कट्टरपंथियों ने किया हमला, जिहादी झुंड ने घर पर की तोड़फोड़

हिंदू संत चिन्मय कृष्ण दास प्रभु के वकील पर इस्लामी कट्टरपंथियों ने हमला किया है।

Rashmi Singh
  • Dec 3 2024 12:57PM

बांग्लादेश में हिंदुओं पर अमानवीय अत्याचार बढ़ता ही जा रहा है। हिंदू धर्मगुरु और इस्कॉन के प्रमुख चेहरा रहे, हिंदू संत चिन्मय कृष्ण दास प्रभु अभी भी जेल में है। दरअसल, उनके वकील रमन रॉय पर इस्लामिक कट्टरपंथियों ने जानलेवा हमला किया है। इस हमले में वो गंभीर रुप से घायल हो गए है। जिसके बाद उनको आईसीयू में भर्ती कराया गया है। इस बात की जानकारी खुद इस्कॉन कोलकाता के प्रवक्ता राधारमण दास ने अपने आधिकारिक सोशल मीडिया हैंडल एक्स पर पोस्ट शेयर कर दिया है। उन्होंने पोस्ट कर लिखा कि, इस्लामी कट्टरपंथियों ने रमन रॉय के घर पर तोड़-फोड़ की और उन पर क्रूरता से हमला किया है।

उन्होंने आगे लिखा कि, "रमन रॉय के लिए प्रार्थना करें। उनका एकमात्र गुनाह चिन्मय कृष्ण प्रभु का अदालत में बचाव करना था। इस्लामी कट्टरपंथियों ने उनके घर में तोड़फोड़ की और उन पर निर्दयता से हमला किया है। जिसके बाद वो अपनी जान के लिए संघर्ष कर रहे है।" 

क्या है पूरा मामला ? 

बांग्लादेश में हिंदूओं पर हो रहे अत्याचारों के खिलाफ प्रदर्शन करने पर इस्कॉन के वरिष्ठ सदस्य चिन्मय कृष्ण दास प्रभु को गिरफ्तार कर लिया गया था। मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, उन्हें ढाका एयरपोर्ट पर गिरफ्तार किया गया है। पुलिस ने उन्हें राजद्रोह के आरोप में हिरासत में लिया है। पुलिस ने ढाका एयरपोर्ट से उन्हें उठाकर अज्ञात जगह ले गई है। दरअसल, 22 नवंबर को चिन्मय कृष्ण दास प्रभु ने बांग्लादेश के रंगपुर में हिंदू समुदाय के समर्थन में एक रैली का आयोजन किया था। रैली में बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे हमलों का विरोध किया गया था। माना जा रहा है कि इसी रैली के कारण उन पर यह कार्रवाई की गई।

चिन्मय कृष्ण दास प्रभु ने बांग्लादेश के मेहरपुर में इस्कॉन मंदिर पर हुए हमले के बाद मंदिरों की सुरक्षा को लेकर चिंता जताई थी। उन्होंने कहा था कि चटगांव में तीन मंदिर खतरे में हैं, लेकिन हिंदू और मुस्लिम समुदाय के कुछ लोग मिलकर अब तक उन मंदिरों को बचाने में सफल हुए हैं। इसके अलावा, उन्होंने यह भी बताया था कि कई हिंदू और अन्य अल्पसंख्यक समुदाय के लोग असुरक्षित महसूस कर रहे हैं और भारत के पश्चिम बंगाल या त्रिपुरा के रास्ते पलायन कर रहे हैं।

वहीं, बांग्लादेश की यूनुस सरकार ने हाल ही में एक हाई कोर्ट में हिन्दू धर्म के संगठन ISKCON को ‘कट्टरपंथी’ बताया है। उनका कहना है कि इस संगठन पर कार्रवाई पहले से ही चल रही है। यह बयान ISKCON के एक संत की गिरफ्तारी के बाद सामने आया है। एक वकील ने बांग्लादेश हाई कोर्ट में याचिका दायर कर ISKCON पर प्रतिबंध लगाने की मांग की है।HC में दायर की गई याचिका में वकील ने ISKCON को देशद्रोही गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगाया है। वकील ने इस संदर्भ में मीडिया रिपोर्ट्स का हवाला देते हुए कोर्ट से संगठन पर कार्रवाई की अपील की। 

प्रदर्शन के दौरान बांग्लादेश पुलिस और इस्लामी कट्टरपंथियों ने प्रदर्शनकारियों पर लाठियां और पत्थर बरसाए, साथ ही गोलीबारी की घटना भी सामने आई। इस हमले में एक सरकारी वकील की मौत हो गई। बांग्लादेश पुलिस ने इसे हिन्दू प्रदर्शनकारियों का ही काम बताया, हालांकि हिन्दू संगठन ने इसका विरोध करते हुए कहा कि हमला मस्जिद से हुआ था, न कि उनके लोगों द्वारा।

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