म्यांमार में आए विनाशकारी भूकंप के बाद, भारतीय सेना का फील्ड हॉस्पिटल लगातार राहत और चिकित्सा सेवाएं प्रदान कर रहा है। मंडाले में तैनात यह अस्पताल अब तक कुल 1,932 मरीजों का इलाज कर चुका है, जिनमें से 281 मरीज केवल आज ही इलाज के लिए पहुंचे। भारतीय सेना का यह मानवीय प्रयास आपदा की इस घड़ी में एक जीवन रेखा साबित हो रहा है।
दिनांक 10 अप्रैल की चिकित्सा उपलब्धियां
कुल इलाज किए गए मरीज: 1932
आज के नए मरीज: 281
अस्पताल में भर्ती मरीज: 30
आज तक डिस्चार्ज: शून्य
प्रयोगशाला जांच: 5517 (आज 524)
एक्स-रे: 830 (आज 140)
छोटी सर्जरी: 243 (आज 28)
बड़ी सर्जरी: 47 (आज 4)
भारतीय सेना का मेडिकल स्टाफ — डॉक्टरों, पैरामेडिक्स और सपोर्ट टीम के साथ — पूरी क्षमता के साथ चौबीसों घंटे काम कर रहा है, ताकि संकट की इस घड़ी में लोगों को सर्वोत्तम चिकित्सा सहायता मिल सके।
UN प्रतिनिधिमंडल ने की सराहना
भारतीय सेना के इस अभियान की विश्व स्तर पर भी प्रशंसा हो रही है। संयुक्त राष्ट्र मानवतावादी मामलों के समन्वय कार्यालय (UN OCHA) के प्रतिनिधिमंडल ने फील्ड हॉस्पिटल का दौरा किया। टीम को चिकित्सा प्रक्रियाओं की जानकारी दी गई, जिसे उन्होंने सराहा और भारतीय प्रयासों की सराहना की।
इंजीनियरिंग टीम ने लिया प्रभावित इलाकों का जायजा
सेना की इंजीनियरिंग टीम ने कर्नल राकेश के नेतृत्व में तीन प्रमुख प्रभावित क्षेत्रों का रेखांकन (रिकॉनिसेंस) किया। इन इलाकों में करीब 350 क्षतिग्रस्त इमारतें चिन्हित की गई हैं। टीम ने जल्द ही अपनी विस्तृत रिपोर्ट सौंपने की बात कही है।
विशेषज्ञ डॉक्टरों का सक्रिय योगदान
लेफ्टिनेंट कर्नल सिरोही, ऑर्थोपेडिक सर्जन, ने नयुपिडॉ हॉस्पिटल का दौरा किया। उन्होंने वहां कई घायलों का मूल्यांकन कर विशेषज्ञ राय दी। म्यांमार के स्वास्थ्य अधिकारियों ने भारतीय सेना से शल्य चिकित्सा उपकरणों की आपूर्ति का अनुरोध भी किया है, ताकि इलाज में तेजी लाई जा सके।
भारत का मानवीय संकल्प
भारतीय सेना म्यांमार के नागरिकों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है। इस संकट की घड़ी में भारत ने न केवल क्षेत्रीय सहयोग का उदाहरण पेश किया है, बल्कि मानवता की सेवा में अपनी प्रतिबद्धता को भी मजबूती से दर्शाया है।