भारत के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह का निधन 92 वर्ष की आयु में 27 दिसंबर 2024 को हुआ। उनका जीवन एक प्रेरणा है, जो भारतीय राजनीति, अर्थव्यवस्था और शिक्षा के क्षेत्रों में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका को दर्शाता है।
डॉ. मनमोहन सिंह का करियर
पूर्व पीएम मनमोहन सिंह का करियर कई उच्चतम पदों पर रहा है। जो उनके महान नेतृत्व और योगदान का प्रतीक है। वह भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर, वित्त मंत्री, योजना आयोग के उपाध्यक्ष और भारतीय प्रधानमंत्री जैसे महत्वपूर्ण पदों पर रहे।
प्रधानमंत्री के रूप में कार्यकाल
2004 से 2014 तक यूपीए सरकार के प्रधानमंत्री के रूप में, डॉ. मनमोहन सिंह ने भारतीय अर्थव्यवस्था को सुधारने के लिए कई साहसिक कदम उठाए। उनकी नीतियों से भारतीय अर्थव्यवस्था को विश्वभर में नई पहचान मिली। उनके कार्यकाल में कई उल्लेखनीय योजनाएं शुरू की गईं, जिनमें सूचना का अधिकार (RTI), मनरेगा और आधार योजना प्रमुख हैं। उनकी सबसे महत्वपूर्ण उपलब्धियों में से एक भारत-अमेरिका परमाणु समझौता था, जिसने भारत को अंतरराष्ट्रीय परमाणु तकनीक तक पहुंच दिलाई थी।
शैक्षणिक और विद्वान जीवन
मनमोहन सिंह का शिक्षा जीवन भी बहुत प्रेरणादायक था। उनका जन्म 1932 में हुआ था। पूर्व पीएम ने कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय से अर्थशास्त्र में डिग्री प्राप्त की थी। इसके बाद, उन्होंने ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय से डी. फिल. (Ph.D.) की डिग्री हासिल की थी। उन्होंने पीएचडी करने के बाद पुस्तक भी लिखी थी। जो भारत के निर्यात रुझान और स्व-संचालित विकास की संभावनाएं , भारत की व्यापार नीति पर आलोचनात्मक दृष्टिकोण प्रस्तुत करती है, जो आर्थिक सुधारों के पक्ष में थी।
सम्मान और पुरस्कार
मनमोहन सिंह को उनके उत्कृष्ट कार्य के लिए कई सम्मान प्राप्त हुए थे। जिनमें पद्म विभूषण(1987), जवाहरलाल नेहरू जन्म शताब्दी पुरस्कार, एशिया मनी पुरस्कार शामिल हैं। उन्होंने भारत का प्रतिनिधित्व कई अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर किया और उनकी भूमिका वैश्विक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण रही। डॉ. मनमोहन सिंह का करियर यह दर्शाता है कि भारत के विकास और सुधार के लिए एक मजबूत और दूरदर्शी नेतृत्व की आवश्यकता है। उनका योगदान भारतीय राजनीति, अर्थव्यवस्था और समाज में हमेशा याद रखा जाएगा।