प्रयागराज में महाकुंभ के दौरान संगम तट पर हुई भगदड़ और श्रद्धालुओं की मौतों के बाद प्रशासन ने कुंभ मेले के प्रोटोकॉल में महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं। इन बदलावों का मुख्य उद्देश्य श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करना और व्यवस्था में सुधार लाना है।
जानकारी के अनुसार, प्रशासन का कहना है कि इन बदलावों का मकसद कुंभ क्षेत्र में भीड़ को नियंत्रित करना और श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करना है। श्रद्धालुओं से अपील की गई है कि वे प्रशासन के निर्देशों का पालन करें और किसी भी तरह की अव्यवस्था से बचने में सहयोग करें।
महाकुंभ में हुए हैं ये बड़े बदलाव
1. मेला क्षेत्र अब नो-व्हीकल जोन
प्रशासन ने मेला क्षेत्र को पूरी तरह से नो-व्हीकल जोन घोषित कर दिया है। अब किसी भी प्रकार के वाहन को मेला क्षेत्र में प्रवेश की अनुमति नहीं होगी। सभी प्रकार के वाहनों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगाया गया है।
2. VVIP पास रद्द किए गए
महाकुंभ के दौरान किसी भी विशेष पास के माध्यम से वाहनों को मेला क्षेत्र में प्रवेश करने की अनुमति नहीं होगी। VVIP पास को रद्द कर दिया गया है, जिससे खास व्यक्तियों के वाहनों का प्रवेश भी अब प्रतिबंधित रहेगा।
3. वन-वे रास्तों की व्यवस्था
श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए मेला क्षेत्र में वन-वे रास्ते बनाए गए हैं। यह व्यवस्था श्रद्धालुओं के सुगम आवागमन को सुनिश्चित करेगी और भीड़ की स्थिति को नियंत्रित करने में मदद करेगी।
4. वाहनों की एंट्री पर सख्त रोक
प्रशासन ने प्रयागराज और आसपास के जिलों से आने वाले वाहनों को जिले की सीमा पर ही रोकने का आदेश दिया है। यह कदम यातायात की भीड़ को नियंत्रित करने के लिए उठाया गया है।
5. चार फरवरी तक सख्त प्रतिबंध
प्रशासन ने यह भी ऐलान किया है कि 4 फरवरी तक शहर में चार पहिया वाहनों की एंट्री पर पूरी तरह से रोक रहेगी। यह प्रतिबंध सुरक्षा और भीड़ नियंत्रण को ध्यान में रखते हुए लगाया गया है।
सीएम योगी ने की समीक्षा बैठक
महाकुंभ के दौरान हुई भगदड़ के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मेला व्यवस्थाओं की समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को नए दिशा-निर्देश जारी किए और व्यवस्था को मजबूत करने के लिए आशीष गोयल और भानु गोस्वामी जैसे अधिकारियों को तैनात करने का आदेश दिया। सीएम ने मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक से महाकुंभ मेला व्यवस्थाओं की गहन समीक्षा करने को कहा। प्रशासन ने सुरक्षा और बेहतर प्रबंधन के लिए विशेष सचिव और एसपी स्तर के अधिकारियों को भी तैनात किया है, जो 12 फरवरी तक प्रयागराज में रहेंगे। वहीं, प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे निर्देशों का पालन करें और मेला क्षेत्र में शांति बनाए रखें।