30 मई, 1988 को जन्मे उधय कुमार बिहार के छपरा से हैं। उधय कुमार ने पश्चिम सिक्किम के कंचनजंगा नेशनल पार्क में 16,500 फीट की ऊंचाई पर माउंट रेनॉक पर चढ़ाई कर अभूतपूर्व साहस और संकल्प का परिचय दिया और 780 वर्ग फीट भारतीय ध्वज प्रदर्शित किया। साहसिक क्षेत्र में उनके उत्कृष्ट उपलब्धियों और योगदान को मान्यता देते हुए उधय कुमार को टेंज़िंग नॉरगे नेशनल एडवेंचर अवार्ड 2023 से सम्मानित किया गया।
टेंज़िंग नॉरगे नेशनल एडवेंचर अवार्ड
27 अप्रैल, 1998 को जन्मी सुश्री सायानी दास पश्चिम बंगाल के पुरबा बर्धमान से हैं। उन्होंने इंग्लिश चैनल (इंग्लैंड से फ्रांस) को 14 घंटे 8 मिनट में तैरा, रॉटनस्ट चैनल को 6 घंटे 42 मिनट में, मोलोकाई चैनल (मोलोकाई से ओ'आहु) को 18 घंटे 50 मिनट में और कैटालिना चैनल (कैटालिना से मेनलैंड) को 12 घंटे 46 मिनट में तैरा। साहसिक क्षेत्र में उनकी उत्कृष्ट उपलब्धियों और योगदान को मान्यता देते हुए सुश्री सायानी दास को टेंज़िंग वाटर एडवेंचर अवार्ड 2023 से सम्मानित किया गया।
टेंज़िंग नॉरगे नेशनल एडवेंचर अवार्ड
10 अप्रैल, 1982 को जन्मे जितिन मलयीलाकठूट विजयन केरल के कोच्चि से हैं। उनके नाम पर सबसे लंबे फ्रीफॉल की रिकॉर्ड है, जो 2 मिनट 47 सेकंड का है; 42,431 फीट की ऊंचाई से भारतीय ध्वज के साथ स्काईडाइविंग और 36,929 फीट की ऊंचाई से भारतीय ध्वज के साथ सबसे लंबी दूरी का फ्रीफॉल। उन्होंने 18 लगातार दिनों तक स्काईडाइविंग भी की है। साहसिक क्षेत्र में उनकी उत्कृष्ट उपलब्धियों और योगदान को मान्यता देते हुए जितिन मलयीलाकठूट विजयन को टेंज़िंग एयर एडवेंचर अवार्ड 2023 से सम्मानित किया गया।
टेंज़िंग नॉरगे नेशनल एडवेंचर अवार्ड
2 मार्च, 1965 को जन्मे उमेश मलिकर्जुन जिरपे पुणे, महाराष्ट्र से हैं। उन्होंने माउंट एवरेस्ट, माउंट मैनस्लू, माउंट ल्होत्से, माउंट कंचनजंगा, माउंट अन्नपूर्णा और माउंट धौलागिरी के अभियानों का सफल नेतृत्व किया और युवा पीढ़ी को विभिन्न पर्वतारोहण अभियानों के माध्यम से मार्गदर्शन भी किया। उन्हें 2013-14 में महाराष्ट्र का सर्वोच्च खेल पुरस्कार "शिव छत्रपति राज्य साहसिक खेल पुरस्कार" भी प्राप्त हुआ। साहसिक क्षेत्र में उनके निरंतर समर्पण, महत्वपूर्ण योगदान और अभूतपूर्व साहसिक भावना को मान्यता देते हुए उमेश मलिकर्जुन जिरपे को टेंज़िंग नॉरगे नेशनल एडवेंचर अवार्ड 2023 के तहत जीवनभर की उपलब्धि के लिए सम्मानित किया गया।