उत्तर प्रदेश के बहराइच में नवरात्रि के बाद मूर्ति विसर्जन के दौरान हुई हिंसा पर यूपी-पुलिस अब सक्रिय हो गई है। पुलिस ने मुख्य आरोपी सलमान के खिलाफ FIR दर्ज की है और महराजगंज क्षेत्र से पूछताछ के लिए कई लोगों को हिरासत में लिया है। इस घटना के मद्देनजर, थाना हरदी और महसी चौकी के प्रभारी को निलंबित कर दिया गया है। महराजगंज एक संवेदनशील क्षेत्र है, और यदि पुलिस की तैनाती पहले से होती, तो घटना की संभावना कम हो सकती थी। यह भी सामने आया है कि इस मामले में पुलिस की लापरवाही के संकेत मिल रहे हैं।
इस बीच, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी मामले पर सख्त प्रतिक्रिया दे रहे हैं। उन्होंने कहा है कि बहराइच में कानून व्यवस्था को बिगाड़ने वाले किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने उपद्रवियों की पहचान कर उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। मूर्ति विसर्जन के दौरान दो समुदायों के बीच झड़प के बाद स्थिति बिगड़ गई, जिससे गोलीबारी हुई और एक व्यक्ति की मौत हो गई। इसके बाद गुस्साए लोग रातभर आगजनी करते रहे और कई वाहनों को जलाकर राख कर दिया। हालाँकि, पुलिस प्रशासन ने देर रात मूर्तियों का विसर्जन भी किया।
CM योगी ने अपने X पर पोस्ट में लिखा कि, "जनपद बहराइच के महसी में माहौल बिगाड़ने वालों को बख्शा नहीं जाएगा। सभी को सुरक्षा की गारंटी, लेकिन उपद्रवियों और जिनकी लापरवाही से घटना घटी है, ऐसे लोगों को चिह्नित कर कठोरतम कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। प्रतिमा विसर्जन जारी रहेगा। प्रशासन और पुलिस के अधिकारियों को मौके पर उपस्थित रहकर धार्मिक संगठनों से संवाद कर समय से प्रतिमा विसर्जन कराने हेतु निर्देशित किया है।"
पुलिस अधीक्षक वृंदा शुक्ला ने कहा कि स्थिति अब शांत है और दंगाइयों की पहचान कर उनके खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएंगे। उन्होंने बताया कि सलमान की पहचान हो गई है, और उसे हिरासत में लिया गया है। इसके साथ ही, 25 अन्य लोगों को भी पकड़ा गया है, जबकि बाकी आरोपियों की पहचान की जा रही है।
हिंसा के दौरान 22 वर्षीय राम गोपाल की गोली लगने से मौत हो गई, जबकि पांच अन्य लोग घायल हुए हैं। घायल लोगों में 30 वर्षीय राजन, 22 वर्षीय सुधाकर तिवारी, 42 वर्षीय दिव्यांग सत्यवान, और 52 वर्षीय अखिलेश बाजपेई शामिल हैं।