पश्चिमी उत्तर प्रदेश के संभल जिले में हरिहर मंदिर को तोड़ कर बनाई गई शाही जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान रविवार को हिंसा भड़क उठी, जिसमें अब तक चार लोगों की मौत हो चुकी है। इसके दूसरे दिन यानी आज सोमवार को भी इलाके में तनाव का माहौल बना रहा।
हालांकि, दिन के शुरुआती समय में बाजार बंद था और दुकानों के शटर गिराए गए थे, लेकिन दुकानदारों की उपस्थिति ने स्थिति को और जटिल बना दिया था। दुकानदार अपने-अपने दुकानों के बाहर खड़े हुए थे, और वे एक दूसरे से दुकानों को खोलने को लेकर चर्चा कर रहे थे। इस बीच, दुकानों के शटर को लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई थी।
रविवार की घटनाएँ: जामा मस्जिद में पुलिस कार्रवाई और उग्र भीड़
रविवार सुबह, जामा मस्जिद के पास पुलिस टीम एक न्यायिक आदेश पर सर्वे करने पहुँची थी। इस खबर के फैलते ही, मस्जिद के आसपास भारी भीड़ एकत्र हो गई। पुलिस ने भीड़ को शांत करने की कोशिश की, लेकिन कुछ उपद्रवी तत्वों ने पुलिस पर पथराव करना शुरू कर दिया और फायरिंग भी शुरू कर दी। इसके परिणामस्वरूप इलाके में तनाव फैल गया। पुलिस को नियंत्रण पाने में काफी मशक्कत करनी पड़ी, लेकिन बाद में स्थिति और भी बिगड़ गई, जब भीड़ ने फिर से पथराव और फायरिंग की। पुलिस ने जवाबी कार्रवाई की, जिसके कारण चार लोगों की मौत हो गई।
वर्तमान स्थिति: पुलिस गश्त और सुरक्षा इंतजाम
संभल हिंसा में अब तक पुलिस ने 25 दंगाईयों को गिरफ्तार किया। बबाल में 2500 लोगों पर केस दर्ज किया गया। सात रिपोर्ट अलग अलग थाने में दर्ज कराई गई। पूरे हादसे में 19 पुलिस कर्मी घायल हुए। घायलों को उपचार के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
सिर्फ एक दिन में हुई हिंसा के बाद, पुलिस और प्रशासन ने नियंत्रण पाने के लिए तेज़ी से कदम उठाए। प्रशासनिक अधिकारी और पुलिस बल सड़क पर उतर आए और पूरे इलाके में गश्त करने लगे। इसके साथ ही प्रमुख चौराहों और अन्य महत्वपूर्ण स्थानों पर पिकेट भी लगाए गए। सोमवार को हालात शांत रहे, लेकिन बाजार अभी भी बंद था और सड़कों पर सन्नाटा पसरा हुआ था।
SDM का बयान: दुकानों को फिर से खोलने की अपील
सोमवार की सुबह लगभग साढ़े नौ बजे तक भी बाजार में दुकानें बंद ही थीं, जबकि सामान्य दिनों में इस समय तक दुकाने खुल चुकी होती थीं। इस पर एसडीएम वंदना मिश्रा ने दुकानदारों से मिलने के लिए एक बैठक का आयोजन किया। बैठक में व्यापारियों और व्यापारिक संगठनों के प्रतिनिधियों से चर्चा कर उन्होंने कहा कि अब कोई विवाद नहीं है और बाजार को फिर से सामान्य रूप से चलने देना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि सुरक्षा के लिहाज से भारी पुलिस बल तैनात है।
दुकानदारों ने एसडीएम से बताया कि सोमवार को नगर में साप्ताहिक बंदी रहती है, जिसके कारण अधिकांश दुकानदारों ने अपनी दुकानें बंद रखी थीं। इसके बाद, एसडीएम की अपील पर कुछ दुकानदारों ने दोपहर के बाद अपनी दुकानें खोल दीं।
शांति की स्थिति में व्यापारिक गतिविधियों की शुरुआत
इस दौरान कई प्रमुख दुकानदार जैसे गौरी शंकर चौधरी, नवील अहमद, हर्षित शर्मा, जसपाल सिंह और अजय अग्रवाल ने भी अपनी दुकानों को फिर से खोल लिया। हालांकि, बाजार में अभी भी काफी दुकानदार अपनी दुकानें खोलने को लेकर संकोच कर रहे थे, लेकिन धीरे-धीरे स्थिति सामान्य होने लगी।
क्या हुआ था?
रविवार सुबह पश्चिमी उत्तर प्रदेश के संभल जिले में हरिहर मंदिर को तोड़ कर बनाई गई शाही जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान हिंसा भड़क उठी, जिसमें अब तक चार लोगों की मौत हो चुकी है। इस हिंसा ने ना केवल इलाके में भय का माहौल पैदा किया, बल्कि यह संसद तक पहुंच गया, जहां विपक्षी दलों ने इस मामले को शीतकालीन सत्र के पहले दिन लोकसभा में उठाने की कोशिश की।
हालांकि, सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी गई। संभल हिंसा के बाद इलाके में हाई अलर्ट घोषित किया गया है, और सुरक्षा व्यवस्था को काफी सख्त किया गया है। अतिरिक्त सुरक्षाबलों को तैनात किया गया है, साथ ही इंटरनेट सेवाओं को भी बंद कर दिया गया है।
संभल में हिंसा का आगाज उस समय हुआ जब उग्र भीड़ ने कई गाड़ियों में आग लगा दी। इसके बाद, पुलिस ने भीड़ को काबू करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़े और लाठीचार्ज किया। मुरादाबाद के डिवीज़नल कमिश्नर आंजनेय कुमार सिंह के अनुसार, सर्वे टीम पर जब तीन तरफ से पथराव किया गया, तो पुलिस ने स्थिति को काबू करने के लिए बल प्रयोग किया।
घटनास्थल पर गोलीबारी भी हुई, जिसके परिणामस्वरूप पुलिस अधीक्षक के पीआरओ के पैर में गोली लगी, जबकि डिप्टी कलेक्टर का पैर फ्रैक्चर हो गया। इस दौरान 15-20 पुलिसकर्मी भी घायल हुए।