अन्नपूर्णा जयंती आज यानी रविवार को मनाई जा रही है। यह दिन माता अन्नपूर्णा की पूजा के लिए विशेष रूप से समर्पित होता है। इस दिन विशेष रूप से उनके चालीसा का पाठ करने से घर में समृद्धि और खुशहाली का वास होता है। अन्नपूर्णा देवी का नाम ‘अन्न’ और ‘पूर्णा’ से लिया गया है, जिसका अर्थ है वह देवी जो हमें हर प्रकार के अन्न और समृद्धि प्रदान करती हैं।
अन्नपूर्णा देवी को भोजन और समृद्धि की देवी माना जाता है। उनके आशीर्वाद से घर में सुख-शांति, धन-धान्य की कोई कमी नहीं रहती। अन्नपूर्णा जयंती के दिन श्रद्धालु उनके व्रत और उपवास रखते हुए चालीसा का पाठ करते हैं। साथ ही, घर के प्रत्येक कोने में दीप जलाकर माता अन्नपूर्णा की पूजा करते हैं। इस दिन विशेष रूप से उनके मंदिरों में भी भक्तों की भीड़ रहती है और वहां भव्य पूजा का आयोजन किया जाता है।
माना जाता है कि अन्नपूर्णा देवी का व्रत और चालीसा पाठ करने से घर के सभी संकट दूर होते हैं और समृद्धि का वास होता है। घर में किसी प्रकार की धन की कमी नहीं रहती, और परिवार में सुख-शांति का वातावरण रहता है। इस दिन विशेष रूप से उनका ध्यान करना और उनकी पूजा करने से व्यक्ति के जीवन में उन्नति और सफलता मिलती है।
अन्नपूर्णा देवी की उपासना करने से केवल भौतिक सुख नहीं बल्कि मानसिक शांति भी प्राप्त होती है। साथ ही, इस दिन अन्न का दान करना भी विशेष रूप से शुभ माना जाता है। गरीबों और जरूरतमंदों को अन्न वितरित करने से पुण्य की प्राप्ति होती है और देवी का आशीर्वाद मिलता है।
आज विशेष रूप से अन्नपूर्णा चालीसा का पाठ करें और देवी के आशीर्वाद से अपने जीवन को खुशहाल और समृद्ध बनाएं। माता अन्नपूर्णा का आशीर्वाद हर किसी को अपार धन, सुख और समृद्धि प्रदान करे, ऐसी कामना करते हुए इस दिन को हर्षोल्लास के साथ मनाएं।