संसद में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर अपनी बात रखते हुए केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने विपक्ष पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि महामहिम राष्ट्रपति संसद की सदस्य भी हैं और उनका सम्मान करना हर किसी का कर्तव्य है। प्रसाद ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की सराहना करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर गर्व है, जिन्होंने वंचित समाज से आने वाली एक योग्य व्यक्तित्व को राष्ट्रपति पद पर आसीन किया।
राष्ट्रपति की गरिमा और शालीनता पर प्रकाश डाला
रविशंकर प्रसाद ने राष्ट्रपति की गरिमा और शालीनता की तारीफ की और कहा कि राष्ट्रपति ने अपने पद को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाया है। उनका कार्यकाल राष्ट्रपति पद के लिए एक आदर्श प्रस्तुत कर रहा है। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति का नेतृत्व आज देश के लिए एक प्रेरणा बन चुका है।
"Poor lady" वाली टिप्पणी पर उठाया सवाल
रविशंकर प्रसाद ने विपक्ष पर बिना नाम लिए हमला किया। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति के अभिभाषण के बाद विपक्ष की एक बड़ी पार्टी की प्रमुख नेता ने "POOR LADY" टिप्पणी की, तो इसका क्या मतलब है? प्रसाद ने सवाल किया कि विरोध की कोई गरिमा होनी चाहिए और उन्होंने विपक्ष से इस पर गंभीरता से विचार करने की अपील की। इसके साथ ही उन्होंने "Shame Shame" के नारे को लेकर भी कड़ा रुख अपनाया।
राष्ट्रपतियों के प्रति सम्मान की महत्ता पर प्रकाश डाला
रविशंकर प्रसाद ने देश के पहले राष्ट्रपति डॉ. राजेंद्र प्रसाद का जिक्र करते हुए कहा कि, " उनके निधन के समय किस प्रकार उनका सम्मान किया गया, यह एक ऐतिहासिक घटना है।" उन्होंने बताया कि," डॉ. राजेंद्र प्रसाद के निधन के बाद तत्कालीन राष्ट्रपति राधाकृष्णन ने उनके अंतिम संस्कार में भाग लेने की इच्छा व्यक्त की थी, जबकि पंडित नेहरू ने फंड कलेक्शन के लिए राजस्थान जाने की योजना बनाई थी। प्रसाद ने इस उदाहरण के माध्यम से राष्ट्रपतियों के प्रति सम्मान की महत्ता को स्पष्ट किया।"