मुंबई के करंजा क्षेत्र में आज यानी 18 दिसंबर को शाम लगभग 4 बजे एक नौसेना का जहाज जो इंजन परीक्षण कर रहा था, नियंत्रण खो बैठा और वह एक यात्री नाव, नील कमल से टकरा गया। यह नाव गेटवे ऑफ इंडिया से एलिफेंटा द्वीप के लिए जा रही थी, जिसमें कई यात्री सवार थे। नौसेना के जहाज पर OEM (Original Equipment Manufacturer) इंजन परीक्षण करने के लिए सवार था।
हादसे के तुरंत बाद भारतीय नौसेना ने तटरक्षक बल और समुद्री पुलिस के साथ मिलकर बचाव कार्य शुरू किया। चार नौसैनिक हेलीकॉप्टर, 11 नौसैनिक जहाज, एक तटरक्षक बल की नाव और तीन समुद्री पुलिस की नावें इस बचाव अभियान में शामिल हैं।
राहत कार्य और पीड़ितों की स्थिति
नौसेना और नागरिक जहाजों द्वारा बचाए गए लोगों को पास के जेट्टी और अस्पतालों में पहुंचाया गया। अब तक 99 लोगों को बचाया जा चुका है।
हादसे में हुए 13 लोगों की मौत
इस हादसे में 13 लोगों की दुखद मौत हो गई है, जिनमें से एक नौसैनिक कर्मचारी और दो ओईएम (ऑपरेशनल इंजीनियरिंग मैनेजमेंट) कर्मचारी भी शामिल हैं। सभी घायल और मृतकों की गिनती की जा रही है, और क्षेत्र में बचाव कार्य (SAR) अभी भी जारी है।
रक्षा मंत्री की प्रतिक्रिया
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने X पर पोस्ट करते हुए अपनी संवेदना व्यक्त करते हुए लिखा, "मुंबई हार्बर में यात्री नाव और भारतीय नौसेना के जहाज के बीच हुई टक्कर में कीमती जानों के नुकसान से गहरा दुख हुआ है। घायल कर्मियों, जिनमें नौसैनिक और दोनों जहाजों के नागरिक शामिल हैं, को तात्कालिक चिकित्सा सहायता दी जा रही है। शोक संतप्त परिवारों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं। भारतीय नौसेना और तटरक्षक बल द्वारा विस्तृत खोज और बचाव अभियान चलाया जा रहा है, जिसमें कई संसाधनों का उपयोग किया जा रहा है, ताकि लापता व्यक्तियों को ढूंढा जा सके।"