बिहार में भागलपुर और आरा में NIA ने छापेमारी की. एनआईए टीम ने जाली नोट के अवैध कारोबार मामले में आतंकी कनेक्शन खंगालने के लिए ये छापेमारी की थी. जानकारी सामने आई है कि, डीएसपी और इंस्पेक्टर रैंक के अफसरों के नेतृत्व में आरा के चौरी थाना क्षेत्र के छतरपुरा गांव और सहार थाना के कोरनडिहरी गांव स्थित दो घरों में दबिश की गई.
जानकारी के मुताबिक, जिन संदिग्धों के घरों में टीम ने छापामारी की है वो रिश्तेदार हैं. छापेमारी के दौरान टीम ने अख्तर हुसैन (मोहम्मद वारिस के पिता) और जमाल अंसारी (मोहम्मद नेहाल के पिता) के घर से डॉक्यूमेंट्स भी जब्त किए गए हैं. टोला सेवक अख्तर हुसैन और उर्दू टीचर जमाल अंसारी से घंटों पूछताछ की. वहीं लंबी पूछताछ के बाद टीम ने जमाल अंसारी और उनके बेटे नेहाल को पूछताछ के लिए पटना बुलाया है. बताया जा रहा है कि, पहला संदिग्ध मो. नेहाल दिल्ली में रहता है, जबकि दूसरा मो. वारिस पहले से जाली नोट मामले में जेल में बंद हैं.
जानकारी सामने आई कि, पिछले साल 5 सितंबर 2024 को करीब दो लाख के जाली नोट के साथ तीन धंधेबाज पकड़े गए थे. इसमें से एख धंधेबाज नजरे सद्दाम भागलपुर के इशाकचक थाना क्षेत्र का रहनेवाला था. वहीं गिरफ्तार जाली नोटों के रैकेट के सरगना शमशाद और मोहम्मद वारिस से कई सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारियों ने पूछताछ की तो पाकिस्तान में नोट छपने की बात भी सामने आई थी. मोहम्मद शमशाद ने पूछताछ में पाकिस्तान में छपे भारतीय जाली नोट नेपाल के रास्ते देश के विभिन्न हिस्सों में पहुंचाए जाने की बात कही थी.